हाथरस के लोगो से मिलने के बाद राहुल गांधी दिल्ली मैं लोकों पाइलट से मिले,उन्होंने जाना कि किस तरह से कम स्टाफ़ की वजह से लोकों पायलट आम परेशानियों का सामना कर रहे हैं उन्होंने अपने x ट्विटर पर लिखा
नरेंद्र मोदी की सरकार में लोको पायलट्स के जीवन की रेल पूरी तरह पटरी से उतर चुकी है। गर्मी से खौलते केबिन में बैठ कर लोको पायलट्स 16-16 घंटे काम करने को मजबूर हैं। जिनके भरोसे करोड़ों ज़िंदगियां चलती हैं, उनकी अपनी ज़िन्दगी का कोई भरोसा नहीं रह गया है।
यूरिनल जैसी बेसिक सुविधाओं से भी वंचित लोको पायलट्स के न काम के घंटों की कोई लिमिट है और न ही उन्हें छुट्टी मिलती है। जिसके कारण वह शारीरिक और मानसिक रूप से टूट कर बीमार हो रहे हैं।
ऐसे हालात में लोको पायलट्स से गाड़ी चलवाना उनकी और यात्रियों की जान को जोखिम में डालना है। I
NDIA लोको पायलट्स के अधिकारों और वर्किंग कंडीशंस को बेहतर किए जाने के लिए संसद तक आवाज़ उठाएगा। इस छोटी सी चर्चा को देखकर आप भी उनकी पीड़ा को महसूस कर सकते हैं।
राहुल गांधी के स्वाल करते ही सरकार के मंत्रियों की कितनी आँख खुली खुली या नहीं कहना मुश्किल हैं लेकिन धरातल पर चल क्या रहा हैं किसी नेता ने तो जाना